हम आहत भी हैं और शर्मिंदा भी! ॐ शांति डेनिस!
एक महिला कर्मचारी ,'कोई' डेनिस प्रूदोम वेल्स फार्गो के एरिज़ोना ऑफिस में मरी पड़ी मिलीं ! ४ दिनों तक किसी ने उन्हें नहीं ढूँढा , कोई उनके पास नहीं गया. दूर कोने में कहीं डेस्क पर उनकी लाश सड़ती रही. सोमवार , मंगलवार शाम हो गयी. बदबू से ऑफिस भरने लगा , लोग शिकायत करने लगे. शायद AC के AHU में कोई चूहा मर गया हो! चूहे की तलाश डेनिस पर जाकर ख़त्म होती है. डेनिस की सड़ती हुई लाश पर. कैसी विडम्बना है, लीडर्स और एच आर वाले , आपके वेल्बीइंग , इंगेजमेंट, सहभागिता , चेक इन जैसे कई ज्ञान पेलते रहते हैं. आपसे कहते रहते हैं, ऑफिस आ जाओ, ऑफिस से काम करो , घर पर डिप्रेस हो जाओगे. मेन्टल इलनेस हो जायेगी. सेहत ख़राब हो जायेगी. आप बात मान लेते हैं, ऑफिस आते हैं, मर जाते हैं अपने डेस्क पर, चार दिन तक वेल्बीइंग और इंगेजमेंट का झुनझुना बजाने वाले आपको सूंघने भी नहीं आते. घर पर होते तो कोई तो आपको यूँ सड़ने नहीं देता. आपका कुत्ता भी अगर अकेला आपके साथ होता तो वह भी आपके पड़ोसियों को चीख चीख कर बता देता कि किसी को मदद चाहिए. निकम्मा पडोसी भी कम से कम ९११ पर संपर्क कर सूचना तो दे ही देता! मैं ...