Friday, August 26, 2016

कहते हैं, स्वर्ग भी मरने के बाद ही मिलता है!

२६ अगस्त के टाइम्स ऑफ़ इंडिया में न्यूज़ है, "३१ कंपनियों को IITs ने बैन कर दिया है. उन्होंने प्लेसमेंट की मर्यादा की माँ चो* दी है. ऑफर दे कर जोइनिंग नहीं दिया. फ्लिपकार्ट, ग्रोफर्स, जोमाटो, और ऐसे अनेकों नाम हैं. स्टार्ट उप फ़ैल हो रहे हैं. स्टार्ट उप फ़ैल होते हैं. लेकिन स्टार्ट उप तब तक फ़ैल नहीं होते जब तक वो, फिर से नयी जंग के लिए तैयार हैं हो जाते. रेलिअनेक ज्वेल फ़ैल होगया, टाटा, बिरला, के कई वेंचर फ़ैल हो गए. मर्ज हो गए, बिक गए, कबाड़ में गया. एयरलाइन कम्पनीज बंद हो गयी, बंद होना फेलियर नहीं है, हार जाना , हार मान लेना फेलियर है. सहादत मांगती है स्टार्ट-अप .

किसी नें सच ही कहा है, स्टार्ट उप में, काफी समय, बिज़नस प्लान ही मिसिंग होता है. फंडिंग है, आईडिया है, मार्केटिंग है, स्ट्रेटेजी है. बिज़नस प्लान बना नहीं है. 
सारी बात नीयत की है. अगर आप की नीयत अच्छी  है तो, बरक्कत होगी. इंशाअल्लाह! बात अर्रोगंस से शुरू होती है, अर्रोगंस से ख़त्म हो जाती है. कॉपी-पेस्ट को कोई स्टार्ट उप नहीं ,कहता! कॉपी -पेस्ट बुरा नहीं है, पर मॉडल तो चेक कर लो, जब क़यामत निश्चित है उस मॉडल में, तो फिर सुसाइड क्यों करते हो.

सिर्फ VC फंडिंग कोई गारंटी नहीं है , बिज़नेस मॉडल की सक्सेस का. सफलता मिलती है, हौसले से. यह "साँप -सीढ़ी का खेल है. यहाँ, हज़ारों साँप  आपके डस लेने को तैयार हैं. स्टील्थ-मोड , चकमा देने की क़ाबिलियत , फ़ायदे के रिश्ते , भाड़े के रिश्ते, काफी कुछ करना पड़ता है, स्टार्ट उप की सफलता के लिए. मछली की ऑंख पर नज़र रखनी है हमेशा. आँखें खोलकर सोईये , कान खड़े हों , कुत्ते की तरह, हर आहट सुनिये. "

ग़ालिबन , मोहतरमा रानी मुख़र्जी  ने  "Coffee with Karan" के एपिसोड में , कहा था.."आई ऍम  ए bitch !, आई डू नॉट रन विथ rats ! (I am a bitch, I do not run with rats). सवाल था, "क्या आप बॉलीवुड की नंबर  १ , हीरोइन हैं? ..........सलाम है मैडम को ! तो फिर  निश्चय कर लीजिये, आप चूहा बनेगे या फिर bitch !

यह इश्क़ नहीं आसां , बस इतना समझ लीजे, एक आग का दरिया है और डूब के जाना है! स्टार्ट अप में घर फूंक मस्ती मस्ती चाहिए! कबीर ने कहा है, "कबीरा खड़ा बज़ार में, लिए लुकाठी हाथ, जो घर फूंके आपन, चले हमारे साथ!
पर दुर्भाग्य यह है, बच्चों को CEO बनना है, बहुत जल्दी में. निम्बू-शरबत की दूकान नहीं है स्टार्ट उप. आपको सिर्फ फंडिंग लाना है. कॅश फूंक देना है, वैल्यूएशन बढ़ा लेना है. गेम ओवर. disruption की माँ की, डेंट इन यूनिवर्स की माँ की.... आँख !

अगर आप ऐसा कर रहे हैं, तो फिर सफलता नहीं मिलेगी.

कहते हैं, स्वर्ग भी मरने के बाद ही मिलता है! 

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